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शुक्रवार, 8 जून 2012
बच्चों ने पापा के लिए बनाई चॉकलेट : फादर डे पर देंगे गिफ्ट
डीएवी गल्र्स कालेज यमुनानगर में चल रहे समर कैंप के दौरान शुक्रवार को नन्हें मुन्ने बच्चों को फादर डे के लिए इन्सटेंट चॉकलेट बनानी सिखाई गई। जिसमें बच्चों ने उत्साहपूर्वक भाग लिया। वहीं डांस क्लास में बच्चों ने चंदू के चाचा ने चंदू की चाची को गीत पर जमकर ठूमके लगाए। जबकि छोटे बच्चों को बॉर्बी गल्र्स के सांग पर थिरकते देखा गया।
समर कैंप की को-ओडिनेटर वंदना पाहूजा व डोली लांबा ने बताया कि आर्ट एंड क्राफ क्लास में बच्चों ने डिस्पोजेबल प्लेट, ग्लास और ऊन की सहायता से स्पेस शीप (आंतरिक्ष जहाज) बनाना सिखाया गया। इसके बाद उन्हें आंतरिक्ष में जाने की विधि विस्तार से बताई गई, जिससे बच्चों का ज्ञानवृद्र्धन हुआ। बच्चों को फादर डे के लिए इन्सटेंट चॉकलेट बनानी सिखाई गई। जिसमें उन्होंने बढ़चढ़ कर भाग लिया। बच्चों ने चॉकलेट पाउडर, मिल्क पाउडर, अमूल बटर, चीनी, क्रंची वेफर्स मिक्स करके चॉकलेट तैयार की। चॉकलेट तैयार होने के उपरांत बच्चें उसे पापा के लिए अपने घर ले गए, ताकि १० जून को फादर डे पर वे उसे पापा को गिफ्ट कर सकें। समर कैंप में लड़कियों को नेल आर्ट के बारे मे विस्तार से जानकारी दी गई। जिसमें उन्हें नेल पेंट में लड़कियों ने ग्लीटर्स और सिरोसकी के साथ नेल्स को सजाया। आट्र एंड क्राफ्ट की क्लास में बच्चों को स्टोन एक्टिविटी भी करवाई गई, जिसमें उन्हें पत्थर को पेंट के जरिए सजाना सिखाया गया, साथ ही उन्हें उस पत्थर को पेपरवेट की सेप दी गई। उन्होंने बताया कि बच्चों को फै्रंडशिप बेंड्स बनाना सिखाया गया। ताकि वे आपस में मिलजुल कर रह सकें। इससे पूर्व बच्चों को दोस्ती के महत्व के बारे में विस्तार से जानकारी दी गई। वहीं डांस क्लास में बच्चों ने चंदू के चाचा ने चंदू की चाची को चांदी की चम्मच से चटनी चटाई गीत पर प्रैक्टिस की। जबकि छोटे बच्चों ने बॉर्बी डॉल व डिकाचिका गीत पर डांस किया। डांस टीचर उमा परासर ने बताया कि समर कैंप के अंतिम दिन २३ जून को डांस कंपीटिशन करवाया जाएगा। जिसके लिए बच्चों द्वारा रोजाना प्रैक्टिस की जा रही है। संतोष कामरा ने बताया कि शनिवार को बच्चों को कुरुक्षेत्र ट्रिप पर लेकर जाया जाएगा। जहां पर उन्हें कल्पना चावला प्लेनेटोरियम दिखाया जाएगा।
बुधवार, 6 जून 2012
शुक्र पारगमन अवलोकन मेला
आज शुक्र पारगमन अवलोकन मेला मुकुंद लाल
पब्लिक स्कूल सरोजिनी कालोनी में सम्पन्न हुआ। इस अवलोकन मेले का उद्घाटन
विद्यालय की प्रधानाचार्य श्रीमती शशि भाठला ने किया। सी. वी. रमण विज्ञान
क्लब सरोजिनी कालोनी के प्रयास से यमुनानगर जिले में एक साथ 12 स्थानों पर
शुक्र पारगमन अवलोकन मेलों का आयोजन किया गया। आज सूर्योदय पर आसमान में
काले बादल छाये हुए थे परन्तु बाद में सूर्य और शुक्र के इस अदभुद खगोलीय
नज़ारे का अवलोकन करके बच्चे, अध्यापक व क्लब सदस्य बहुत खुश हुए। शुक्र
पारगमन के नज़ारे को देख कर बच्चे व बड़े सब झूम उठे जब उन्हें यह पता चला कि
अब दोबारा यह खगोलीय घटना 2117 ईस्वी में होनी है और वे सब इस व अगली सदी
के वो भाग्यशाली व्यक्ति हैं जिन्होंने शुक्र पारगमन देखा है। इस अवसर पर
पिनहोल कैमरा, बाक्स कैमरा से सूर्य का प्रतिबिम्ब लेना भी बताया गया व
पारगमन सम्बन्धित बहुत सी भी गतिविधियां करवाई गयी।
क्लब के समन्वयक श्री दर्शन लाल बवेजा विज्ञान अध्यापक ने बताया कि
यमुनानगर जिले में अलाहर, कैम्प, जगाधरी वर्कशाप, कृष्णा कालोनी, खारवन,
माडर्न कालोनी, सरोजिनी कालोनी, पालेवाला, जठलाना, सढौरा, प्रोफेसर कालोनी व
जयपुर वासीयों ने इस अदभुद कुदरती नज़ारे का अवलोकन किया। शिवम, अरुण, अमन, आंचल, पारस, कपिल, इंदु, डा. प्रवीन चोपड़ा, श्रीश शर्मा, रजत, रविन्द्र पुंज, दर्शन लाल, मोनिका शर्मा,संजय शर्मा, संदीप आदि अध्यापकों व क्लब सदस्यों का सहयोग सराहनीय रहा।
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दर्शन लाल , समन्वयक
सी. वी. रमण विज्ञान क्लब सरोजिनी कालोनी
सी. वी. रमण विज्ञान क्लब सरोजिनी कालोनी
शनिवार, 5 मई 2012
शुक्रवार, 27 अप्रैल 2012
सिद्धिविनायक संस्थान में रोजगार मेला आयोजित
श्री सिद्धिविनायक इंजीनियरिंग व मैनेजमेंट सस्थान शाहपुर-बिलासपुर में एम.बी.ए. व इंजीनियरिंग के विद्यार्थियों को बेहतर प्लेसमेंट (रोजगार) उपलब्ध कराने के लिए शाईन.कॉम के साथ विश्वसनीय व विशाल नौकरी मेले का शुभारम्भ राज नंदन व संस्था के सी.ई.ओ. व चैयरमेन डा0 एम. के. सहगल ने किया। डा0 सहगल ने बताया कि इस रोजगार मेंले में फयूचरोनिक्स ऑटोमेशन, ए टू सी स्किल, जे.एम.डी. ग्रुप, कैपजैमिनी, डीएलएफ ग्रुप, आई.डी. बी.आई., एच.सी.एल., अविवा ग्रुप आदि कम्पनियों के प्रतिनिधि व मैनेजर मानव संसाधन ने विद्यार्थियों के टेस्ट, जी.डी. व इंटरव्यू लिए। फयूचरोनिक्स ऑटोमेशन से आये प्रतिनिधि डिभारती चौधरी व रजनीश कुमार ने सर्वप्रथम प्रतिभागियों का लिखित टेस्ट लिया जिसमें विद्यार्थियों से टेक्रीकल स्किल से संम्बन्धित सवाल जवाब किये गए। इस लिखित टेस्ट व इंटरव्यू 15 विद्यार्थियों को शॉर्टलिस्ट किया। कैपजैमिनी ग्रुप ने मोनिका, कृष्णा, नविका, नवीन, शिखा, निधि, हितेश को गुडगांव व साहिल, दिनेश, कनिका को बंगलौर आफिस के लिए चुना गया। अविवा ग्रुप से हितेश व रीतिका ने 12 प्रतिभागियों को शॉर्टलिस्ट किया। ए टू सी स्किल, ने लिखित टेस्ट व जी0डी0 के आधार पर 24 प्रतिभागियों को शार्टलिस्ट किया। कैपजैमिनी से वैभव महाजन, मैनेजर, जे.एम.डी. ग्रुप से राजेन्द्र शर्मा, सिनियर मैनेजर मानव संसाधन, डीएलएफ ग्रुप वरूण मेहरा, अभिमन्यु, मैनेजर, एच.सी.एल. ग्रुप से ऋषभ, मैनेजर व प्रतिनिधियों ने विद्यार्थियों के प्रेजेन्टेशन, इंटरव्यू व जी.डी. लिये। उससे पहले उन्होने प्रतिभागियों को अपनी कम्पनी के बारे में विस्तुत जानकारी दी। संस्था के सी.ई.ओ. व चैयरमेन डा0 एम. के. सहगल ने बताया कि संस्थान का उददेश्य विद्यार्थियों को सही, बेहतर और अच्छे रोजगार दिलाना है ताकि विद्यार्थियों के उज्जवल भविष्य की नींव रखी जा सके। ।
डा0 सहगल ने विद्यार्थियों को प्रोत्साहित करते हुए कहा कि आज के समय में लीडरशिप का गुण, लगन, परिश्रम और साथियों से मिलजुल कर काम करने वाले हमेशा कामयाब रहते है जो इस गुण का अपनाता है व कभी नाकामयाब नही होता। संस्था की महानिदेशक डा0 रजनी सहगल ने विद्यार्थियों को कहा कि संस्थान इस प्रकार के देश विदेश में अन्तराष्ट्रीय स्तर प्रसिद्ध कम्पनियों के प्रतिनिधियों को समय-समय पर बुलाया जा रहा है। एक अच्छा रिज्यूमे आपके नौकरी पाने के मौके को भुनाने में बहुत हद तक जरूरी है और आप अपने आप को किस तरह से व्यक्त करते है। रोजगार मेंले का आयोजन आपने आप में श्री सिद्धिविनायक संस्था द्वारा विद्यार्थियों को नौकरी दिलाने के लिए किए गये प्रयासो व गुणवत्ता से ओत-प्रोत राष्ट्रीय स्तर का स्तर दिखाता है। बिहार से पंकज, पंचकूला से दिप्ती व नितिका, रूडकी से नेहा, हरिद्वार से अंकिता और चण्डीगढ, दिल्ली, हिसार से आये प्रतिभागियों ने बताया कि सिद्धिविनायक संस्थान द्वारा किया गया विशाल नौकरी मेले में उन्हे यकीन है कि वे अपनी काबलियत के भरासों विभिन्न कम्पनियों से आये प्रतिनिधियों को संतुष्ट कर नौकरी पाने में सफल रहेगें। संस्थान के विद्यार्थियों के अलावा विभिन्न राज्यों व जिलों से 400 से अधिक प्रतिभागियों ने इस नौकरी मेले में भाग लिया। प्रोफेसर अजय सिडाना, प्रोफेसर आर.सी. शर्मा, प्रोफेसर विपिन चोपडा एस.एस. राणा रजिस्टार, प्रदीप शर्मा आदि ने विद्यार्थियों को प्रोत्साहित किया कल अविवा, बाएनरी सेमैटिक्स, आइडिया फांउडेशन, रेडा एलकैमी आदि कम्पनियों के प्रतिनिधि प्रतिभागियों का इंटरव्यू लेंगे।
गुरुवार, 26 अप्रैल 2012
सीडीएल कॉलेज में रक्तदान शिविर का आयोजन
रक्तदान
शिविर चौ० देवी लाल कालेज ऑफ आयुर्वेदा एंव हस्पताल जगाधरी तथा भारत विकास
परिषद जगाधरी द्वारा सयुंक्त रूप से किया गया। इस रक्त शिविर का शुभारंभ
संस्थान के चेयरमैन पंडित राम स्वरूप शर्मा तथा डा० वी० के० शर्मा ,
सी०एम०ओ० यमुनानगर द्वारा द्वीप प्रज्जवलित कर किया गया । इस शिविर मे लगभग
161 व्यक्तियों ने रक्त दान किया। इस रक्तदान शिविर में न केवल चौ० देवी
लाल कालेज ऑक्त आयुर्वेदा एंव हस्पताल अपितु अन्य संस्थान बी०एड०, जे०
बी०टी०, एम०बी०ए० के विद्यार्थियों एंव कर्मचारियों ने पुरा सहयोग दिया ।
इस रक्त दान शिविर में कालेज के मुख्य सचिव श्री० राजेन्द्र शर्मा ने सभी
कर्मचारियों एंव विद्यार्थियों कों रक्तदान के प्रेरित किया । उन्होने कहा
कि रक्तदान के द्वारा ही एक मानव द्वारा दूसरे मानव का जीवन बचाया जा सकता
है । रक्तदान करने से वयक्ति को आत्म सतोंष की प्राप्ति होती है । इस अवसर
पर संस्थान के वाईस प्रैसिडैन्ट डा० महेश शर्मा , प्रधानाचार्य रविन्द्र
गुप्ता, प्रशासक विरेन्द्र कौशल, दमन शर्मा, चिकित्साल्याध्यक्ष डा० ऋषिराज
वशिष्ठ , संदीप शर्मा तथा भारत विकास परिषद् के प्रधान अशोक गर्ग ,
सरंक्षक डा० सतीश बंसल जी तथा अन्य सदस्य उपस्थित थे ।
गणपति ग्रुप ऑफ इंस्टीच्यूशंस में वार्षिकोत्सव ‘उत्कर्ष-२०१२’
गणपति ग्रुप ऑफ इंस्टीच्यूशंस में पांचवे दो दिवसीय वार्षिकोत्सव ‘उत्कर्ष-२०१२’ का शुभारंभ मु2य अतिथि माननीय अमेर सिंह ठाकुर, सीनियर प्रिंसीपल इंफोसिस ने दीप प्रज्जवलित करके कार्यक्रम का शुभारंभ किया। गणपति वंदना से कार्यक्रम की शुरूआत की गई। आज प्रमुख टै1िनकल प्रतियोगिताओं में टै1िनकल पेपर प्रस्तुतिकरण, प्रोजे1ट डेमोंस्ट्रेशंस, डीबेट, सॉ3टवेयर डवैल्पमैंट, ग्रुप डिस्कशन, डिबगिंग सी, ए1सटै6पोर तथा फाईन आर्ट प्रतियोगिताओं में मेंहदी, रंगोली, फेस पेंटींग, टी-शर्ट पेंटींग, पोस्टर मेकिंग, नेल आर्ट, टैटू मेकिंग इत्यादि में विद्यार्थियों ने अपनी प्रतिभा का प्रदर्शन किया।
मु2य अतिथि अमेर सिंह ठाकुर ने कहा कि मेहनत की हुई हर क्षेत्र में रंग लाती है तकनिकी क्षेत्र में खोज की अपार संभावनांए हैं। मौजूदा सिस्टम में शिक्षा और उद्योग में भारी खाई है जिसे पाटने के लिये 1वालिटी एजूकेशन की आवश्यकता है। भारत में तैयार किये जा रहे ८० प्रतिशत इंजिनियर उद्योग के लिए उपयु1त नहीं हैं। यह आंकडा चिंताजनक है जिससे तकनीकि शिक्षा से जुडे उद्यमी ही दूर कर सकते हैं। उन्होंने विद्यार्थियों को अपने जीवन का लक्ष्य निर्धारित करने के विषय में विस्तारपूर्वक जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जिस भी क्षेत्र में आप जाना चाहते हैं उससे संबंधित संपूर्ण जानकारी आपको अर्जित करनी चाहिए।
गणपति ग्रुप ऑफ इंस्टीच्यूशंस के चेयरमैन चतरसिंह कश्यप ने मु2य अतिथि अमेर सिंह ठाकुर व विभिन्न संस्थानों से आए अतिथियों का स्वागत व धन्यवाद किया। उन्होंने विद्यार्थियों से आहवान किया कि उन्हें प्रतियोगिता चाहे राष्ट्रीय स्तर पर हो या अंतराष्ट्रीय स्तर पर भाग लेना चाहिए ताकि उनमें छिपी हुई प्रतिभा का निखार हो। संस्थान के महासचिव सुभाष गौड ने कार्यक्रम में उपस्थित अतिथियों का पारंपरिक स्वागत किया व संस्थान की मु2य गतिविधियों से उपस्थित जनों को अवगत करवाया। उन्होंने कहा कि इस तरह की प्रतियोगिताओं से विद्यार्थियों को नए-नए विचारों को अपनाने की प्रेरणा मिलती है और विद्यार्थी अपनी कला में निखार ला सकते हैं और दूर-दराज के संस्थान से आए हुए विद्यार्थी इस अवसर का लाभ उठाकर विशेषता प्राप्त कर सकते हैं।
गणपति इंस्टीच्यूट ऑफ टै1नोलॉजी एंड मैनेजमैंट, कंप्यूटर सांईस एंड इंजिनियरिंग की छात्राओं महक व नीतिका ने ग्रुप डॉंस करके सबको थिरकने पर मजबूर कर दिया। श्री गणेश पोलीटै1िनक के इलै1िट्रकल इंजिनियरिंग के विद्यार्थी सज्जल ने सोलो सॉंग व विकास ने सोलो डांस प्रस्तुत किया। संजीव, सन्नी एंड टीम ने भांगडा प्रस्तुतिकरण से सबको मंत्रमुग्ध कर दिया। गणपति इंस्टीच्यूट ऑफ टै1नोलॉजी एंड मैनेजमैंट के डायरे1टर-प्रिंसीपल डा. ए.पी.सिंह ने उपस्थित सभी को गणपति शिक्षण संस्थान की उपल4िधयों के बारे में अवगत करवाया। वार्षिकोत्सव ‘उत्कर्ष-२०१२’ के कन्वीनर प्रो. जगमोहन ऑबराय ने इस उत्सव को सफलतापूर्वक आयोजन के लिये कॉ-कन्वीनर प्रो.नरेंद्र राणा, प्रो.समीर शर्मा, प्रो.गुरबीर सिंह इत्यादि के सहयोग की सराहना की। उन्होंने बताया कि कल होने वाली प्रतियोगिताओं में टै1िनकल में जरनल 1वीज और कल्चरल में ग्रुप डॉंस, गायन प्रतियोगिता, मिमिकरी, सोलो डॉंस, सोलो गायन, कोरियोग्राफी, स्किट, वन ए1ट प्ले व फैशन प्रतियोगिता का आयोजन किया जाऐगा। गणपति पोलीटै1िनक प्रिंसीपल प्रो.विकास धवन ने अंत में सभी का धन्यवाद किया। इस अवसर पर संस्थान की मैनेजमैंट कमेटी के सदस्य नरेंद्र बिन्द्रा, मुनीष बिन्द्रा, नरेंद्र पुरी, विनोद पुरी, बी.बी.शास्त्री, संजय कश्यप, डायरे1टर डवैल्पमैंट प्रो.जगमोहन ऑबराय, डायरे1टर फाईनांस प्रो.सचिन गंभीर, गणपति इंस्टीच्यूट ऑफ एजूकेशन फॉर गल्र्स की प्रिंसीपल डा. उपमा शर्मा, प्रो.अजमेर सिंह, विभागाध्यक्ष प्रो.नरेद्र राणा, प्रो.समीर शर्मा, प्रो. गुरबीर सिंह, रजिस्ट्रार सुरेन्द्र पॉल इत्यादि उपस्थित रहे।
गणपति ग्रुप ऑफ इंस्टीच्यूशंस के चेयरमैन चतरसिंह कश्यप ने मु2य अतिथि अमेर सिंह ठाकुर व विभिन्न संस्थानों से आए अतिथियों का स्वागत व धन्यवाद किया। उन्होंने विद्यार्थियों से आहवान किया कि उन्हें प्रतियोगिता चाहे राष्ट्रीय स्तर पर हो या अंतराष्ट्रीय स्तर पर भाग लेना चाहिए ताकि उनमें छिपी हुई प्रतिभा का निखार हो। संस्थान के महासचिव सुभाष गौड ने कार्यक्रम में उपस्थित अतिथियों का पारंपरिक स्वागत किया व संस्थान की मु2य गतिविधियों से उपस्थित जनों को अवगत करवाया। उन्होंने कहा कि इस तरह की प्रतियोगिताओं से विद्यार्थियों को नए-नए विचारों को अपनाने की प्रेरणा मिलती है और विद्यार्थी अपनी कला में निखार ला सकते हैं और दूर-दराज के संस्थान से आए हुए विद्यार्थी इस अवसर का लाभ उठाकर विशेषता प्राप्त कर सकते हैं।
गणपति इंस्टीच्यूट ऑफ टै1नोलॉजी एंड मैनेजमैंट, कंप्यूटर सांईस एंड इंजिनियरिंग की छात्राओं महक व नीतिका ने ग्रुप डॉंस करके सबको थिरकने पर मजबूर कर दिया। श्री गणेश पोलीटै1िनक के इलै1िट्रकल इंजिनियरिंग के विद्यार्थी सज्जल ने सोलो सॉंग व विकास ने सोलो डांस प्रस्तुत किया। संजीव, सन्नी एंड टीम ने भांगडा प्रस्तुतिकरण से सबको मंत्रमुग्ध कर दिया। गणपति इंस्टीच्यूट ऑफ टै1नोलॉजी एंड मैनेजमैंट के डायरे1टर-प्रिंसीपल डा. ए.पी.सिंह ने उपस्थित सभी को गणपति शिक्षण संस्थान की उपल4िधयों के बारे में अवगत करवाया। वार्षिकोत्सव ‘उत्कर्ष-२०१२’ के कन्वीनर प्रो. जगमोहन ऑबराय ने इस उत्सव को सफलतापूर्वक आयोजन के लिये कॉ-कन्वीनर प्रो.नरेंद्र राणा, प्रो.समीर शर्मा, प्रो.गुरबीर सिंह इत्यादि के सहयोग की सराहना की। उन्होंने बताया कि कल होने वाली प्रतियोगिताओं में टै1िनकल में जरनल 1वीज और कल्चरल में ग्रुप डॉंस, गायन प्रतियोगिता, मिमिकरी, सोलो डॉंस, सोलो गायन, कोरियोग्राफी, स्किट, वन ए1ट प्ले व फैशन प्रतियोगिता का आयोजन किया जाऐगा। गणपति पोलीटै1िनक प्रिंसीपल प्रो.विकास धवन ने अंत में सभी का धन्यवाद किया। इस अवसर पर संस्थान की मैनेजमैंट कमेटी के सदस्य नरेंद्र बिन्द्रा, मुनीष बिन्द्रा, नरेंद्र पुरी, विनोद पुरी, बी.बी.शास्त्री, संजय कश्यप, डायरे1टर डवैल्पमैंट प्रो.जगमोहन ऑबराय, डायरे1टर फाईनांस प्रो.सचिन गंभीर, गणपति इंस्टीच्यूट ऑफ एजूकेशन फॉर गल्र्स की प्रिंसीपल डा. उपमा शर्मा, प्रो.अजमेर सिंह, विभागाध्यक्ष प्रो.नरेद्र राणा, प्रो.समीर शर्मा, प्रो. गुरबीर सिंह, रजिस्ट्रार सुरेन्द्र पॉल इत्यादि उपस्थित रहे।
फिंगर प्रिंट टेस्ट से जान सकते हैं कैरियर
पर्सनैलिटी जन्मजात होती है, उसे विकसित तो किया जा सकता है, लेकिन बदला नहीं जा सकता। स्टूडेंट्स को चाहिए कि वे अपनी रूची के मुताबिक ही कैरियर का चयन करें, ताकि बुलंदियों को छू सकें। उक्त शब्द डीएवी गल्र्स कालेज में वाणिज्य व प्लेसमेंट सेल के संयुक्त तत्वावधान में मैजिक ऑफ फिंगर टिप्स विषय पर आयोजित वर्कशाप के दौरान इंस्टीट्यूट ऑफ मल्टीपल इंटेलीजेंस टेस्ट हांगकांग की हरियाणा शाखा के डायरेक्टर रविंद्र पाल सिंह ने कहे। अध्यक्षता वाणिज्य विभागाध्यक्षा डा. सुरेंद्र कौर ने की।
रविंद्र पाल सिंह ने बताया कि एक सर्वे के मुताबिक भारत में हर साल १४००० हजार से ज्यादा स्टूडेंट्स सुसाइड कर लेते हैं। ८० प्रतिशत स्टूडेंट्स अंडर स्ट्रेस रहते हैं। इन सभी चीजों के लिए काफी हद तक पेरेंट्स जिम्मेदार हैं। क्योंकि अभिभावकों द्वारा बच्चों पर पढ़ाई व कैरियर को चुनने का दबाव बनाया जाता है। उन्होंने बताया कि हर बच्चे में अलग तरह की इंटेलीजेंस होती है, जिसमें वर्ड स्मार्ट, रीजनिंग स्मार्ट, पिक्चर स्मार्ट, बॉडी स्मार्ट, यूजिकल स्मार्ट, पीयूपल स्मार्ट, सेल्फ स्मार्ट व नेचर स्मार्ट शामिल है। इन सबका संबंध दिमाग के साथ होता है। इंटेलीजेंस के आधार पर ही कैरियर का चुनाव किया जाना चाहिए। डा. हार्वड गॉनर की थ्यूरी के मुताबिक फिंगर प्रिंट के जरिए किसी भी व्यक्ति की पर्सनैलिटी के बारे में बताया जा सकता है, ताकि वह उसके हिसाब से कैरियर का चयन कर सकें। स्नातक के उपरांत ९९ प्रतिशत विद्यार्थी कैरियर का चुनाव सही प्रकार से नहीं कर पाते। अकसर देखा जाता है कि अधिकांश विद्यार्थी दोस्तों या फिर परिवार के लोगों के मुताबिक कैरियर का चुनाव करते हैं। जबकि वे अपनी आंतरिक पर्सनैलिटी को सही प्रकार से नहीं पहचान पाते। उन्होंने बताया कि मूल्यांकन के बाद ही पर्सनैलिटी का पता चल सकता है। पर्सनैलिटी को पहचानने के लिए दोनों हाथों की उंगलियों का फिंगर प्रिंट लिया जाता है, जिसे लैब में डी टेस्ट के बाद परिणाम पर पहुंचा जा सकता है।
चार प्रकार की होती है पर्सनैलिटी-
रविंद्र पाल ने बताया कि पर्सनैलिटी चार प्रकार की होती है। जिसमें डव, मोर, उल्लू व बाज शामिल है। उन्होंने बताया कि डव पर्सनैलिटी के लोग ज्यादा मेहनती व फ्रैंडली नेचर के होते हैं। जबकि मोर पर्सनैलिटी के लोगों को बातें करना ज्यादा अच्छा लगता है और वे रिस्क लेने से नहीं घबराते। उल्लू पर्सनैलिटी के लोगों में मैथेमेटिकल व तर्कसिद्धता होती है। जबकि बाज पर्सनैलिटी के लोग दूसरों पर हावी होने का प्रयास करते हैं। उन्होंने बताया कि पर्सनैलिटी को इंप्रूव तो किया जा सकता है, लेकिन बदला नहीं जा सकता। यह रिसर्च के जरिए प्रमाणित हो चुका है।
जीएन खालसा कॉलेज में वार्षिक उत्सव का आयोजन
गुरु नानक खालसा कॉलेज के जन संचार एवं मीडिया प्रोद्योगिकी विभाग द्वारा
वार्षिक उत्सव "अनहद " का आयोजन किया गया .
उत्सव की शुरुवात कार्यक्रम की
मुख्य अतिथि कॉलेज प्राचार्य डॉ. वीरेंदर कौर ने दीप जला कर की . उत्सव की
अध्यक्षता कॉलेज के उप प्राचार्य प्रो. अमरजीत सिंह ने की. उत्सव का विधिवत आरम्भ कॉलेज गान " देहि शिवा वर मोहे ईह शुभ कर्मन ते कबहू न डरु " से हुआ . मौके पर विभाग अध्यक्ष डॉ.
उदय भान सिंह ने मुख्य अतिथि का अनहद उत्सव में पहुँचने पर आभार प्रकट
किया और कहा की कॉलेज प्रबंध समिति, प्रशासन और सम्पूर्ण कॉलेज परिवार की
ओर से विभाग को पूरा सहयोग मिलता है ताकि कॉलेज के मीडिया विद्यार्थी न
केवल सैधांतिक ज्ञान प्राप्त कर सकें बल्कि प्रक्टिकल जानकारी भी प्रभाव
पूर्ण ढंग से पा सकें. डॉ. सिंह ने विभाग की उपलब्धिओं की जानकारी देते हुए
बताया की तीन - चार सालों के अंदर ही विभाग ने कॉलेज, सामाज और
विद्यार्थिओं के प्रति निष्ठा पूर्वक कार्य करते हुए अपनी उपस्थिति को
प्रमाणित एवं सार्थक बनाया है.
इसके साथ साथ विभाग से निकले विद्यार्थी
राष्ट्रीय समाचार पत्रों और चैनलों में महतवपूर्ण पदों पर कार्य कर रहे है.
इसके साथ साथ बहुत सारे मीडिया विद्यार्थी उच्चतर शिक्षा के लिए देश के अनेक मीडिया शिक्षण संस्थानों में पढ़ रहे हैं. अनहद उत्सव जैसे शानदार आयोजन करने के लिए विभाग के विद्यार्थियों
और शिक्षकों को बधाई देते हुए कॉलेज प्राचार्य डॉ. वीरेंदर कौर ने कहा की
मीडिया का काम बहुत ज्यादा मेहनत और ध्यान से करने वाला होता है इसलिए
मीडिया विद्यार्थी इस तरफ गंभीरता से
ध्यान दें. इसके साथ साथ अपने जीवन में अनुशासन को खास महत्व दें क्योकि
आप कितना भी अच्छा काम कर लें मगर अनुशासित नही हैं तो आप का प्रभाव फीका
हो जायेगा. उन्होंने जोर दे कर कहा कि आज मीडिया के क्षेत्र में नौकरियों
कि भरमार है मगर शर्त ये है कि इस क्षेत्र में आने वाले मीडिया तकनीक,
ज्ञान व समर्पण में निपूर्ण हो , तभी वह इस क्षेत्र में जा कर सफल हो
सकतें है.
मौके पर विद्यार्थियों ने
मन को छू लेने वाले सांस्कृतिक कार्यक्रम प्रस्तुत किये. पेपर डांस के
विजयेता रामरतन और नेहा रहे जबकि पोस्टर टिकली में ब्रिज मोहन ने बाजी
मारी. इसी प्रकार अन्य प्रतियोगिताओं के विजेताओं को सम्मानित किया गया.
कार्यक्रम के दौरान बीएऍमसी फ़ाइनल कि मंदीप कौर और ब्रिज मोहन को मिस और
मिस्टर का खिताब दिया गया जबकि मोनिका और सुमित को मिस और मिस्टर इव से
नवाजा गया. इस अवसर पर सभी ने एक दूजे को स्नेह भरे उपहार दे कर बधाई और
भावी जीवन के लिए शुभ कामनाएं दी. इस अवसर पर हितेष भारद्वाज , वंदना धीमान
और विभिन्न विभागों के प्रमुख और राष्ट गान के साथ उत्सव का सामपन हुआ.
- Dr. Uday Bhan Singh
गुरुवार, 12 अप्रैल 2012
डीएवी गर्ल्स कालेज में सीनियर्स के लिए विदाई समारोह
-पारूल ढिंगरा बनी मिस फेयरवेल-
-सवि मग्गो को मिला मिस ऑलराउंडर का खिताब-
-ढोल जगीरों दा ....पर जमकर लगे ठुमके-
डीएवी गल्र्स कालेज में वीरवार को सीनियर्स के लिए विदाई समारोह का आयोजन किया गया। जिसकी थीम महफिल मुटियारां दी रही। इस दौरान छात्राओं ने पंजाबी गीतों पर जमकर ठुमके लगाएं।
समारोह में पारूल ढिंगरा को मिस फेयरवेल तथा अंकिता को मिस ईव के खिताब से नवाजा गया। जबकि बीए मॉस कम्यूनिकेशन अंतिम वर्ष की छात्रा सवि मग्गो को मिस ऑलराउंडर का खिताब मिला। कालेज प्रिंसिपल डा. सुषमा आर्य ने विजेता प्रतिभागियों को पुरस्कार प्रदान कर सम्मानित किया तथा सीनियर्स के उज्ज्वल भविष्य की कामना की। डा. सुषमा आर्य ने कहा कि छात्राओं ने राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित प्रतियोगिताओं में भाग लेकर तथा पदक जीतकर डीएवी गल्र्स कालेज का नाम भारत ही नहीं, अपितु, विश्व स्तर पर चमकाया है। जिन छात्राओं ने कालेज में तीन साल या फिर पांच साल तक पढ़ाई की है, उनके सम्मान में विदाई समारोह का आयोजन किया गया है। उन्होंने छात्राओं के उज्ज्वल भविष्य की कामना की और परीक्षा में अच्छे मॉक्र्स प्राप्त करने का आशीर्वाद दिया। विदाई समारोह के दौरान प्रीति ने डोला रे डोला गीत पर डांस कर समां बांध दिया। वहीं शीतल ने मेरा झुमका उठाके लाया यार वे, आजा नच ले गीत पर नृत्य प्रस्तुत कर पंडाल में माधुरी दीक्षित के डांस की यादों को ताजा कर दिया।
कैटवॉक में सवि मग्गो, कृति शर्मा, रीना, सर्वजीत कौर, पारूल ढिंगरा, रूचि, हर्षा, स्मिता, आकांक्षा, विदुषी, अंकुर सहित २५ से ज्यादा छात्राओं ने भाग लिया। कार्यक्रम के दौरान छात्राओं ने लक २० एट कुड़ी दा, ढोल जगीरों दा, मुंदरी बनाई फिरे, ओ ओ हनी सिंह, मिक्स भंगड़ा सहित अन्य पंजाबी गीतों पर छात्राओं ने गिद्दा प्रस्तुत कर माहौल में पंजाबियत घोल दी। मिस फेयरवेल, मिस ईव, मिस ऑल राउंडर व अन्य का चयन करने के लिए विभिन्न प्रतियोगिताएं करवाई गई।
अंत में
पारूल ढिंगरा को मिस फेयरवेल, अंकिता को मिस ईव, सवि को मिस ऑल राउंडर,
हर्षा को मिस थीम, आकांक्षा को मिस ब्यूटीफुल स्माइल, विदुषी को मिस
टैलेंटिड, अंकुर कांबोज को मिस पंचुवल के खिताब से नवाजा गया। टीचर्स के
लिए आयोजित म्यूजिकल चेयर रेस में कॉमर्स विभाग की प्राध्यापिका मीनू
गुलाटी विजेता रहीं। निर्णायक मंडल में डोली लांबा, नेहा सहगल, मीनू गुलाटी
व पसमीन शामिल रहीं।
-सवि मग्गो को मिला मिस ऑलराउंडर का खिताब-
-ढोल जगीरों दा ....पर जमकर लगे ठुमके-
डीएवी गल्र्स कालेज में वीरवार को सीनियर्स के लिए विदाई समारोह का आयोजन किया गया। जिसकी थीम महफिल मुटियारां दी रही। इस दौरान छात्राओं ने पंजाबी गीतों पर जमकर ठुमके लगाएं।
समारोह में पारूल ढिंगरा को मिस फेयरवेल तथा अंकिता को मिस ईव के खिताब से नवाजा गया। जबकि बीए मॉस कम्यूनिकेशन अंतिम वर्ष की छात्रा सवि मग्गो को मिस ऑलराउंडर का खिताब मिला। कालेज प्रिंसिपल डा. सुषमा आर्य ने विजेता प्रतिभागियों को पुरस्कार प्रदान कर सम्मानित किया तथा सीनियर्स के उज्ज्वल भविष्य की कामना की। डा. सुषमा आर्य ने कहा कि छात्राओं ने राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर आयोजित प्रतियोगिताओं में भाग लेकर तथा पदक जीतकर डीएवी गल्र्स कालेज का नाम भारत ही नहीं, अपितु, विश्व स्तर पर चमकाया है। जिन छात्राओं ने कालेज में तीन साल या फिर पांच साल तक पढ़ाई की है, उनके सम्मान में विदाई समारोह का आयोजन किया गया है। उन्होंने छात्राओं के उज्ज्वल भविष्य की कामना की और परीक्षा में अच्छे मॉक्र्स प्राप्त करने का आशीर्वाद दिया। विदाई समारोह के दौरान प्रीति ने डोला रे डोला गीत पर डांस कर समां बांध दिया। वहीं शीतल ने मेरा झुमका उठाके लाया यार वे, आजा नच ले गीत पर नृत्य प्रस्तुत कर पंडाल में माधुरी दीक्षित के डांस की यादों को ताजा कर दिया।
कैटवॉक में सवि मग्गो, कृति शर्मा, रीना, सर्वजीत कौर, पारूल ढिंगरा, रूचि, हर्षा, स्मिता, आकांक्षा, विदुषी, अंकुर सहित २५ से ज्यादा छात्राओं ने भाग लिया। कार्यक्रम के दौरान छात्राओं ने लक २० एट कुड़ी दा, ढोल जगीरों दा, मुंदरी बनाई फिरे, ओ ओ हनी सिंह, मिक्स भंगड़ा सहित अन्य पंजाबी गीतों पर छात्राओं ने गिद्दा प्रस्तुत कर माहौल में पंजाबियत घोल दी। मिस फेयरवेल, मिस ईव, मिस ऑल राउंडर व अन्य का चयन करने के लिए विभिन्न प्रतियोगिताएं करवाई गई।
मंगलवार, 3 अप्रैल 2012
तकनीक और जानकरी से अपने आप को योग्य और कुशल बनाएं - योगेंद्र
"मीडिया क्षेत्र में कार्यरत सभी लोगो को बदलते वक्त की तकनीक के मुताबिक अपने आप को ढालने की जरुरत है ताकि वह आधुनिक तकनीक का इस्तेमाल रोजाना के कार्यों में करते हुए वह बेहतर परिणाम दे सकें . चाहे वह क्षेत्र फिल्म , कैमरा , फोटोग्राफी , एडिटिंग या अन्य क्षेत्र ही क्यों न हो. हर जगह रोज बदलती तकनीक ने अपना कमाल दिखाना शुरू कर दिया है, इसलिए मीडिया के विद्यार्थियों को भी कहिये वह अपने क्षेत्र की नयी तकनीक और जानकरी हासिल कर के अपने आप को पूरी तरह से योग्य और कुशल बनाये ताकि उनका निष्पादन , गुणवत्ता पूर्ण साबित हो सके . "
यह बात दूरदर्शन के सेवा निवृत चीफ प्रोडूसर और देश के प्रमुख मीडिया संस्थानों के मुख्य मीडिया प्रिशिक्षक श्री योगेंदर नाथ जौहरी ने गुरु नानक खालसा कॉलेज के जनसंचार एवं मीडिया प्रोदोयोगिकी विभाग के द्वारा आयोजित तीन दिवसीय मीडिया वर्कशॉप के समापन अवसर पर मीडिया विद्यार्थियों को संबोधित करते हुए कहे . श्री जौहरी ने कहा की सच्चा विद्यार्थी वही है जो जरुरत की बातों को मन लगा कर सीखे और अपना ज्ञान बढ़ा सके ताकि उस ज्ञान और अनुभव के आधार पर विद्यार्थी अपने जीवन का मजबूती से निर्माण कर सके . वर्क शॉप के अंतिम दिन श्री जौहरी ने मीडिया विद्यार्थियों को कैमरों के संचालन की बारीकियों और अन्य पहलुओ पर विस्तार से जानकारी दी. इस से पूर्व इस वर्कशॉप की शुरवात देश के जाने माने विडियो और फोटोग्राफर डी मेंक्कुंन ने की. मौके पर उन्होंने मीडिया विद्यार्थियों को विडियोग्राफी और फोटोग्राफी की महत्वपूर्ण और बारीक़ जानकारी देते हुए कहा की एक ईमानदार और लगनशील विडियोग्राफर और फोटोग्राफर एक मृतप्राय विषयवस्तु में जान फूंक सकता है. उन्होंने कहा की एक जीवंत फोटोग्राफी के लिए वक्त की कोई सीमा नही होती. उन्होंने डिसकवरी, हिस्टरी और नेशनल जेओग्राफी जैसे चैनलों का उदाहरण देते हुए बताया की इन चैनलों में दिखाए जाने वाले दुर्लभ दृश्य एक फोटोग्राफर, विडियोग्राफर कितनी मेहनत के साथ कवर करता होगा इसकी कल्पना हम सहज ही कर सकते हैं .ऐसी ही मेहनत एक फोटोग्राफर को आकाश की तामाम बुलंदियों तक पंहुचा कर उसे बेश कीमती बना देती है.वर्कशॉप में उन्होंने विद्यार्थियों को हाथों हाथ प्रशिक्षण भी दिया.
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इस वर्कशॉप में दूरदर्शन के सेवा निवृत इलेक्ट्रोनिक मीडिया एडिटर और 'भारतीय सिनेमा का विकास' विषय पर बहु र्चित वृत्तचित्र बनाने वाले राजेन्द्र कुमार सूद ने मीडिया विद्यार्थियों को एडिटिंग की विधा के बारे में विस्तार से बताते हुए कहा कि पहले एडिटिंग का मतलब केवल लिपी या आलेखों की कांट- छांट करना और सूधार करना माना जाता था. मगर अब संपादन की अवधारणा इलेक्ट्रोनिक मीडिया और चैनलों के कारण बदल गई है . अब संपादन का मतलब है अवांछित चित्रों और आवाजों को मिटाना और प्रभाव पूर्ण चित्रों और दृश्यों के संयोजन से पूरी मीडिया सामग्री को अर्थ पूर्ण बनाने से है ताकि विषय वस्तु का उद्देश्य और सन्देश सार्थक हो सके . श्री सूद ने मौके पर ही आवाज और प्रकाश के प्रयोगों व प्रभावों के बारे में भी ढ़ेर सारी जानकारी दी. इस वर्क शॉप के अंतिम दिन कॉलेज प्राचार्य डॉ. वीरेंदर कौर ने सभी विद्वानों का स्वागत किया और इलेक्ट्रोनिक मीडिया से सम्बंदित तामाम जानकारियां देने के लिए कॉलेज प्रबंधन समिति के प्रधान सरदार भूपेंदर सिंह जौहर और पूरे कॉलेज परिवार की और से आभार प्रकट किया. डॉ. कौर ने यह भी बताया कि इस प्रकार के उपयोगिता पूर्ण कर्यशालयों का आयोजन बहुत जल्द और भी किया जायेगा ताकि मीडिया विद्यार्थी मीडिया क्षेत्र में उपयोग हो रही तकनीकों और कौशलों में पारंगत हो कर अपने पैरों पर खड़े हो सके और देश के नव निर्माण में अपना योगदान दे सकें. उन्होने मौके पर यह भी बताया की बहुत जल्द विश्व विद्यालय अनुदान आयोग के सहयोग से 'मीडिया मैनेजमेंट' नामक सौ प्रतिशत रोज़गार उन्मुख पाठ्यक्रम की शुरवात की जा रही है. ताकि मीडिया में रूचि रखने वाले विद्यार्थी इस पाठ्यक्रम को पूरा कर के अपना योगदान दे सकें. प्राचार्य ने समापन सत्र में अतिथि विद्वानों को स्मृति चित्र दे कर सम्मानित किया. राष्ट्र-गान जन गन मन के साथ इस तीन दिवसीय मीडिया वर्कशॉप का समापन हुआ.
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२, अप्रैल २०१२, Dr. Uday Bhan Singh
निजी स्कूलों में एबीसीडी सीखना हुआ महंगा
अभिभावकों से फीस, यूनिफार्म व किताबों के नाम पर हो रही वसुली
निजी स्कूलों में नन्हें बच्चों के लिए एबीसीडी सीखना एमए की पढ़ाई से ज्यादा महंगा हो गया है। निजी स्कूल संचालक प्री नर्सरी में दाखिले के नाम पर अभिभावकों से 10 हजार से लेकर 50 हजार रुपए तक फीस वसुल कर रहे हैं। इसमें यूनिफार्म, किताब तथा अन्य फंड शमिल नहीं है। अभिभावकों का कहना है कि जब तक स्कूल संचालकों पर शिक्षा विभाग द्वारा शिकंजा नहीं कसा जाएगा, तब तक उनकी मनमानी यूं ही जारी रहेगी।
यमुनानगर जिले में 250 से ज्यादा निजी स्कूल हैं, जिनमें इन दिनों प्री नर्सरी के दाखिले हो रहे हैं। अभिभावक अपने बच्चों को बेहतर स्कूल में दाखिला दिलवाने के लिए एक स्कूल से दूसरे स्कूल में चक्कर काट रहे हैं। निजी स्कूल संचालक प्री नर्सरी में दाखिले के नाम पर अभिभावकों से 10 हजार से लेकर 50 हजार तक वसुल कर रहे हैं। जबकि एमए की एक साल की पढ़ाई करने में भी 5 से 8 हजार रुपए खर्च आता है। इससे साफ जाहिर है कि निजी स्कूलों में एबीसीडी सीखना एमए की पढ़ाई करने से कितना महंगा हो गया है। नाम न छापने की शर्त पर एक निजी स्कूल के संचालक ने बताया कि उनके यहां प्री नर्सरी में दाखिले के लिए 20 हजार रुपए लिए जाते हैं। जबकि यूनिफार्म व किताबों का खर्च अलग से हैं। इसके सिक्योरिटी फंड, बिल्डिंग फंड व अन्य फंड का पैसा भी अलग से लिया जाता है। उन्होंने बताया कि दाखिला होने के बाद अगर कोई बच्चा स्कूल छोडक़र दूसरे स्कूल में जाना चाहता है, तो फीस रिफंड करने का प्रावधान नहीं है।
डे्रस व किताबों के नाम पर लूट-
अभिभावक सुरेश कुमार, अनीता, सुषमा, नीति कौर व अश्वनी का कहना है कि निजी स्कूल संचालक अभिभावकों से बच्चों की डे्रस व किताबों के नाम पर मोटी रकम वसुल रहे हैं। बच्चों की दो डे्रसिज की एवज में जहां 2000 रुपए लिए जा रहे हैं, वहीं किताबों के नाम पर 1500 रुपए से लेकर 3000 रुपए तक वसुले जा रहे हैं। इतना ही नहीं निजी स्कूल संचालक अभिभावकों को प्राइवेट पब्लिशर्स की किताबें थमा रहे हैं। जबकि शिक्षा विभाग ने सभी निजी स्कूल संचालकों को हिदायत दी हुई है कि वे बच्चों को एनसीआरटी की ही किताबें पढऩे के लिए दें।
नहीं की जाती सिक्योरिटी वापिस-
निजी स्कूल संचालक दाखिले के समय बच्चों से जो सिक्योरिटी लेते हैं,उसे बाद में वापिस नहीं किया जाता। अभिभावक विकास कुमार,विनोद कुमार व अजय कुमार ने बताया कि बच्चे के दाखिले के समय 1000 से लेकर 2000 रुपए तक सिक्योरिटी ली जा रही है। इतना ही नहीं जिस कक्षा में 30 से 40 बच्चें होने चाहिए, उसमें 60 से 70 बच्चें बिठाए जा रहे हैं। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि बच्चों को स्कूलों में कैसे पढ़ाया जा रहा है।
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निजी स्कूल संचालकों को निर्देश दिए हुए हैं कि वे अपने यहां प्राइवेट पब्लिशर्स के स्थान पर एनसीआरटी की ही किताबें पढ़ाए। जिन स्कूल संचालकों ने अपने यहां पर प्राइवेट पब्लिशर्स की किताबें बेची हैं, उनकी लिस्ट मंगवाई जा रही है। ताकि उनके खिलाफ कार्रवाई अमल में लाई जा सकें - जगजीत कौर, जिला शिक्षा अधिकारी, यमुनानगर।
शुक्रवार, 23 मार्च 2012
Swimming pool at DAV College for Girls
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सोमवार, 23 जनवरी 2012
गुरुवार, 12 जनवरी 2012
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